रविवार, मई 08, 2022

माता की ममता की आँचल है सर्वांगीण सुख ...


    सनातन धर्म की मातृ शक्ति को समर्पण प्रत्येक वर्ष वासंति , माघी , श्रावणी एवं शारदीय नवरात्र सहस्त्र वर्षों से है । माता को पृथिवी और स्वर्ग कहा गया है । कुपुत्रो जायत: माता सुमता भवति । ग्राफटन वेस्ट वर्जिनिया में एना जार्विस के द्वारा समस्त माताओं तथा मातृत्व के लिए  पारिवारिक एवं आपसी सम्बन्धों को सम्मान देने के लिए विश्व मातृ दिवस आरम्भ किया गया था। मातृ दिवस विश्व  के अलग-अलग दिनों में मनाया जाता हैं।  ग्रीस के ग्रीक देवताओं की मां  स्बेलोथीं के सम्मान में मातृ दिवस मनाया जाता है।  अमेरिकन एक्टिविस्ट एना जार्विस ने माँ से प्यार जताने के लिए मदर्स डे की शुरूआत वर्ष के मई माह के दूसरे रविवार को मदर्स डे मनाया  है। प्राचीन रोमवासी द्वारा जूनो को समर्पित मेट्रोनालिया में  माताओं को उपहार दिये जाते थे। यूरोप और ब्रिटेन में रविवार को मातृत्व और माताओं को सम्मानित दिवस को मदरिंग सन्डे कहा जाता था। मदरिंग सन्डे समारोह, अन्ग्लिकान्स सहित, लितुर्गिकल कैलेंडर का ईसाई उपाधियों और कैथोलिक कैलेंडर में लेतारे सन्डे, चौथे रविवार लेंट में वर्जिन मेरी और "मदर चर्च" को सम्मानित करने के लिए मनाया जाता हैं। जुलिया वार्ड होवे द्वारा सर्वप्रथम अमेरिका में मातृ दिवस 1870 में रचित "मदर डे प्रोक्लामेशन" में अमेरिकन सिविल वार और फ्रांको-प्रुस्सियन वार में हुई-मारकाट में शांतिवादी प्रतिक्रिया लिखी गयी थी। यह प्रोक्लामेशन होवे का नारीवादी विश्वास था । 1912 में एना जार्विस ने "सेकंड सन्डे इन मे" और "मदर डे" को ट्रेडमार्क बनाया और मदर डे इंटरनेशनल एसोसिएशन का सृजन किया गया था । लेंट में मदरिंग सन्डे की ब्रिटिश परंपरा से चौथे सन्डे (रविवार) और मई के दूसरे सन्डे है। कैथोलिक देशों में वर्जिन मेरी डे अथवा इस्लामी देशों में पैगंबर मुहम्मद की बेटी के जन्मदिन एवं  अन्य देशों ने बोलीविया ने उस खास युद्ध की तारीख का उपयोग करने के कारण  महिलाओं ने हिस्सा लिया था । कैथोलिक धर्म में यह छुट्टी वर्जिन मेरी के श्रद्धांजली देने की प्रथा के साथ जुड़ा हुआ हैं। सनातन संस्कृति में  "माता तीर्थ औंशी" या "मदर पिल्ग्रिमेज फोर्टनैट" कहा जाता हैं ।
अफ्रीकी देशों ने मातृ दिवस मनाने का तरीका ब्रिटिश परंपरा से अपनाया हैं । बोलीविया में, मातृत्व दिवस 27 मई को मनाया जाता हैं। कोरोनिल्ला युद्घ को स्मरण करने के लिए 8 नवम्बर 1927 को कानून पारित किया गया। यह युद्ध 27 मई 1812 को उस जगह हुआ था।  इस लड़ाई में, उन महिलाओं का स्पेनिश सेना द्वारा सरेआम कत्ल कर दिया गया जो देश की आजादी के लिए लड़ रही थी। चीन में, मातृ दिवस में उपहार के रूप में गुलनार का फूल,सबसे अधिक बिकते हैं। ग्रीस में मातृ दिवस प्रस्तुति मंदिर में यीशु के रूप में पूर्वी रूढ़िवादी द्वारा मनाया जाता था। थियोटोकोस (परमेश्वर की मां), मसीह को यरूशलेम के मंदिर तक लाने के कारण प्रमुख रूप से  उत्सव हैं । ईरान में मुहम्मद की बेटी फातिमा का सालगिरह 20 जुमादा अल-ठानी को मनाया जाता है। जापान में  मातृ दिवस जापान में शोवा अवधि के दौरान महारानी कोजुन के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है। मेक्सिको में अलवारो ओब्रेगोन की सरकार ने एक्सेलसियर अख़बार के साथ मिलकर 1922 में यह छुट्टी अमेरिका से अपनाई है । लाज़रो कार्देनस की सरकार ने सन्न 1930 के मध्य में मातृ दिवस को "देशभक्ति का त्यौहार" के रूप में बढ़ावा दिया। कार्देनस सरकार ने इस छुट्टी का उपयोग विभिन्न प्रयासों के लिए एक साधन के रूप में यह सोचते हुए किया कि परिवार का राष्ट्र के विकास में बहुत योगदान होता हैं और मेक्सिकन लोगों में अपनी मां के प्रति वफादारी का लाभ उठाते हुए चर्च और कैथोलिक प्रथाओं के प्रभावों को कम करते हुए मेंक्सिकन महिलाओं में नई नैतिकता का सूत्रपात किया। सरकार ने स्कूलों में छुट्टी को प्रायोजित किया है।
सोलेदाद ओरोज्को गार्सिया, राष्ट्रपति मैनुअल एविला कामाचो की पत्नी ने,मातृदिवस  अवकाश  को सन् 1940 के दशक के दौरान  राज्य प्रायोजित समारोह बनाने में बढ़ावा दिया है। कैथोलिक राष्ट्रीय स्य्नार्चिस्ट संघ ने 1941 के आसपास की छुट्टियों पर ओरोज्कोस की तरक्की के लिए ध्यान देना शुरू कर दिया था। मैक्सिकन क्रांति के सदस्यों जिनकी दुकानें थीं, उनका रिवाज था कि विनम्र वर्ग की महिलाएं मात् दिवस पर उनकी दुकानों पर जाकर कोई भी उपहार मुफ्त में लेकर अपने घर आकर परिवार वालों को दे सकती हैं। स्य्नार्चिस्ट्स  1940 का नज़र रखा था ।
 लियोन नगर के पादरी ने सरकारी कार्यों में यह देखा कि वे छुट्टी को किसी लौकिक-कार्य में लगा कर समाज में महिलाओं की सक्रिय भूमिका को बढ़ावा देने के साथ, पुरुषों को दीर्घकालिक आत्मिक रूप से कमजोर बना दिया जब महिलाओं ने अपनी पारंपरिक भूमिका को परित्यक्त कर दिया।  मैक्सिकन सरकार ने 1940 में मैक्सिको में मातृ दिवस और वर्जिन मेरी दोनों ही छुट्टी का एक उत्सव हैं। नेपाल  में "माता तीर्थ औंशी", "मदर पिल्ग्रिमेज फोर्टनाईट"  बैशाख के महीने के कृष्ण पक्ष  अमावस्या में "माता तीर्थ औंशी" जीवित और स्वर्गीय माताओं के स्मरणोत्सव और सम्मान में मनाया जाता है, जिसमें जीवित माताओं को उपहार देने तथा स्वर्गीय माताओं का स्मरण किया जाता हैं। नेपाल की परंपरा में माता तीर्थ की तीर्थयात्रा पर जाना प्रचलित परंपरा में  काठमांडू घाटी के माता तीर्थ मनाया जाता है । द्वापरयुग में भगवान श्री कृष्ण की मां देवकी एवं यशोदा प्राकृतिक दृश्य देखने के लिए घर से बाहर निकल गयी। उन्होंने कई स्थानों का दौरा किया और घर लौटने में बहुत देर कर दी। भगवान कृष्ण अपनी मां के न लौटने पर दुखी हो गए। वे अपनी मां की तलाश में कई स्थानों पर घूमते रहे परन्तु उन्हें सफलता नहीं मिली एवं  "माता तीर्थ कुंड" पहुंने पर  देखा कि उनकी मां तालाब के फुहार में नहा रही हैं। भगवान कृष्ण अपनी मां को देख कर बहुत खुश हुए और अपनी समस्त शोकपूर्ण घटना जो उनकी माता की अनुपस्थिति में हुई थी । मां देवकी ने कृष्ण भगवान से कहा कि "ओह!बेटा कृष्णा फिर तो इस स्थान को बच्चों की उनकी स्वर्गीय माताओं से मिलने का पवित्र स्थल ही रहने दिया जाये ।"  स्थान एक पवित्र तीर्थयात्रा बन गया हैं जहां श्रद्धालु एवं भक्तगण अपनी स्वर्गीय माताओं को श्रद्धा अर्पण करने आते हैं। पुत्र ने अपनी मां की छवि को तालाब में देखा और उसके अंदर गिर कर उसकी मृत्यु हो गई। आज भी वहां एक छोटे से तालाब को चरों तरफ से लोहे की सिकल से बांध दिया गया हैं। पूजा करने के पश्चात तीर्थयात्री वहां पूरे दिन गाने-बजाने का संपूर्ण आनद उठाते हैं। थाईलैंड में मातृत्व दिवस थाइलैंड की रानी के जन्मदिन पर मनाया जाता है। रोमानिया में मातृ दिवस मनाया जाता है । यूनाइटेड किंगडम और आयरलैंड में, मदरिंग सन्डे लेंट के चौथे रविवार को पड़ता है, इस्टर सन्डे के प्रादुर्भाव 16वीं सदी में ईसाइयों द्वारा प्रत्येक साल अपनी मां के गिरिजाघर में जाने से हुआ हैं । यीशु मसीह की मां मदर मैरी और साथ में परंपरागत संकल्पना 'मदर चर्च' को समर्पित है । संयुक्त राज्य अमेरिका, भारत और कनाडा मई के दूसरे रविवार को मातृ दिवस मनाते हैं। वियतनाम में मातृ दिवस को ले वू-लैन  है । मातृ दिवस पर माता की ममता और शांति का आँचल में रहने वाला प्रत्येक इंसान सर्वांगीण विकास करता है । मातृ देवो भव : ।

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